Horoscopers.com

Looking for Horoscopes, Zodiac Signs, Astrology, Numerology & More..

Visit Horoscopers.com

 

Language

श्री राम आरती | Shri Ram Aarti

Published By: bhaktihome
Published on: Wednesday, September 13, 2023
Last Updated: Friday, July 26, 2024
पढ़ने का समय 🕛
2 minutes
Shri Ram Aarti

॥ आरती श्री रामचन्द्र जी ॥

 

श्री रामचन्द्र कृपालु भजु मन,हरण भवभय दारुणम्। (1)

नव कंज लोचन, कंज मुख कर कंज पद कंजारुणम्॥ (2)

 

कन्दर्प अगणित अमित छवि,नव नील नीरद सुन्दरम्। (3)

पट पीत मानहुं तड़ित रूचि-शुचि नौमि जनक सुतावरम्॥ (4)

 

भजु दीनबंधु दिनेश दानव दैत्य वंश निकन्दनम्। (5)

रघुनन्द आनन्द कन्द कौशलचन्द्र दशरथ नन्द्नम्॥ (6)

 

सिर मुकुट कुंडल तिलक चारू उदारु अंग विभूषणम्। (7)

आजानुभुज शर चाप-धर,संग्राम जित खरदूषणम्॥ (8)

 

इति वदति तुलसीदास,शंकर शेष मुनि मन रंजनम्। (9)

मम ह्रदय कंज निवास कुरु,कामादि खल दल गंजनम्॥ (10)

 

मन जाहि राचेऊ मिलहि सो वर सहज सुन्दर सांवरो। (11)

करुणा निधान सुजान शील सनेह जानत रावरो॥ (12)

 

एहि भाँति गौरी असीस सुन सिय सहित हिय हरषित अली। (13)

तुलसी भवानिहि पूजी पुनि-पुनि मुदित मन मन्दिर चली॥ (14)

 

॥ दोहा ॥

जानि गौरि अनुकूल सिय हिय हरषु न जाइ कहि।
मंजुल मंगल मूल बाम अंग फरकन लगे॥

 

BhaktiHome